नगर निकाय चुनाव में किस्मत आजमाने वाले जनप्रतिनिधियों को करना पड़ेगा लम्बा इंतजार,,,

नगर निकाय चुनाव में किस्मत आजमाने वाले जनप्रतिनिधियों को करना पड़ेगा लम्बा इंतजार,,,

नगर निकाय चुनाव में किस्मत आजमाने वाले जनप्रतिनिधियों को करना पड़ेगा लम्बा इंतजार,,,

देहरादून

ब्यूरो।

नगर निगम, नगर पालिका और नगर पंचायतों के चुनाव निकाय चुनाव फिलहाल लटक गये हैं। ओबीसी आयोग दिसंबर तक अपनी रिपोर्ट सरकार को सौंपेगा। वहीं राज्य निर्वाचन आयोग फरवरी तक मतदाता सूची तैयार करेगा। इस लिहाज से निकाय चुनाव मार्च या इसके बाद ही हो सकते हैं। चूंकि, उस दौरान लोकसभा चुनाव भी होने हैं, इसलिए उम्मीद है कि अब निकाय चुनाव लोकसभा चुनाव बाद ही हो पायेंगे।

वही, शहरी विकास निदेशालय के मुताबिक, वर्ष 2018 में निर्वाचित 84 नगर निकायों नए निकाय गठन के बाद संख्या बढ़ी का कार्यकाल 1 दिसंबर 2023 को पूरा हो रहा है। निदेशालय ने निकायों का परिसीमन राज्य निर्वाचन आयोग को भेजा था, जिसके तहत मतदाता सूची बनाने की प्रक्रिया चल रही है। फरवरी के पहले सप्ताह में आयोग अंतिम मतदाता सूची प्रकाशित करेगा। उधर, एकल सदस्यीय समर्पित आयोग की ओर से निकायों में ओबीसी सर्वेक्षण कराया जा रहा है, जिसकी रिपोर्ट अभी तक प्राप्त नहीं हुई है।

निदेशालय ने यूपी नगर पालिका अधिनियम 1916 (उत्तराखंड में यथाप्रवृत्त) और यूपी नगर निगम अधिनियम 1959 (उत्तराखंड में यथाप्रवृत्त) के तहत नगर निकायों में 2 दिसंबर से प्रशासक तैनात करने की सिफारिश की है। ये प्रशासक जिलाधिकारी या उनके स्तर से नामित अधिकारी होंगे जो एसडीएम से नीचे का न हो ।वही, शहरी विकास सचिव आरके सुधांशु ने बताया कि 2 दिसंबर तक निकायों का कार्यकाल समाप्त हो रहा है। निकायों का कार्यकाल समाप्त होने के बाद नियमानुसार प्रशासक नियुक्त करने की प्रक्रिया अपनाई जाएगी। अभी ओबीसी आयोग की सिफारिशें भी आयोग को प्राप्त नहीं हुई हैं। प्रदेश के सभी 84 नगर निकायों में सरकार प्रशासक नियुक्त करने की तैयारी में जुट गई है। इसके लिए शहरी विकास निदेशालय ने शासन को प्रस्ताव भेज दिया है। जिस पर शासन जल्द निर्णय ले सकता है। उसके बाद आगे की प्रक्रिया शुरू की जाएगीदेहरादून । नगर निगम, नगर पालिका और नगर पंचायतों के चुनाव निकाय चुनाव फिलहाल लटक गये हैं। ओबीसी आयोग दिसंबर तक अपनी रिपोर्ट सरकार को सौंपेगा। वहीं राज्य निर्वाचन आयोग फरवरी तक मतदाता सूची तैयार करेगा। इस लिहाज से निकाय चुनाव मार्च या इसके बाद ही हो सकते हैं। चूंकि, उस दौरान लोकसभा चुनाव भी होने हैं, इसलिए उम्मीद है कि अब निकाय चुनाव लोकसभा चुनाव बाद ही हो पायेंगे।वही, शहरी विकास निदेशालय के मुताबिक, वर्ष 2018 में निर्वाचित 84 नगर निकायों नए निकाय गठन के बाद संख्या बढ़ी का कार्यकाल 1 दिसंबर 2023 को पूरा हो रहा है। निदेशालय ने निकायों का परिसीमन राज्य निर्वाचन आयोग को भेजा था, जिसके तहत मतदाता सूची बनाने की प्रक्रिया चल रही है। फरवरी के पहले सप्ताह में आयोग अंतिम मतदाता सूची प्रकाशित करेगा। उधर, एकल सदस्यीय समर्पित आयोग की ओर से निकायों में ओबीसी सर्वेक्षण कराया जा रहा है, जिसकी रिपोर्ट अभी तक प्राप्त नहीं हुई है।निदेशालय ने यूपी नगर पालिका अधिनियम 1916 (उत्तराखंड में यथाप्रवृत्त) और यूपी नगर निगम अधिनियम 1959 (उत्तराखंड में यथाप्रवृत्त) के तहत नगर निकायों में 2 दिसंबर से प्रशासक तैनात करने की सिफारिश की है। ये प्रशासक जिलाधिकारी या उनके स्तर से नामित अधिकारी होंगे जो एसडीएम से नीचे का न हो ।वही, शहरी विकास सचिव आरके सुधांशु ने बताया कि 2 दिसंबर तक निकायों का कार्यकाल समाप्त हो रहा है। निकायों का कार्यकाल समाप्त होने के बाद नियमानुसार प्रशासक नियुक्त करने की प्रक्रिया अपनाई जाएगी। अभी ओबीसी आयोग की सिफारिशें भी आयोग को प्राप्त नहीं हुई हैं। प्रदेश के सभी 84 नगर निकायों में सरकार प्रशासक नियुक्त करने की तैयारी में जुट गई है। इसके लिए शहरी विकास निदेशालय ने शासन को प्रस्ताव भेज दिया है। जिस पर शासन जल्द निर्णय ले सकता है। उसके बाद आगे की प्रक्रिया शुरू की जाएगी

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