रुड़की में मस्जिद के निर्माण होने से नमाजियों को किसी तरह की कोई परेशानी नहीं होगी, मस्जिद के ऊपर नीचे 44 सफ बिछाई जायेंगी,,,
रुड़की।
अनवर राणा।
रुड़की में अब नमाजियों को किसी तरह की कोई परेशानी नहीं होगी। शहर के प्रमुख समाजसेवी मुजीब मलिक की दिन रात की कड़ी मेहनत से जल्द ही शहर के लोगों को सबसे बड़ी मस्जिद में नमाज़ अदा करने का सुनहरा मौका मिलेगा। इतना ही नहीं मुजीब मलिक रहमानिया मस्जिद के निर्माण को लेकर बेहद संजीदा नज़र आ रहे हैं ।इस मस्जिद को बेहद खूबसूरत और सबसे बड़ी बनाए जाने की उनकी कोशिश लगातार जारी है जिसके चलते इस मस्जिद में एक वक्त में ढाई से तीन हज़ार नमाज़ी आसानी से नमाज़ अदा कर सकेंगे। इस मस्जिद के निर्माण होने से रुड़की और आसपास के गांव के लोगों को भी बड़ी राहत मिलेगी। खास बात यह है की इस मस्जिद का निर्माण काफी बेहतर तरीके से किया जा रहा है जिसमें अलग से दो जगह वजू खाने भी बनवाए गए हैं।मस्जिद में आने वाले किसी नमाज़ी को किसी तरह की कोई परेशानी ना हो इसके लिए खास ध्यान रखा गया हैं खास तौर से बीमार और विकलांग नमाजियों के बैठने और नमाज़ अदा करने की व्यवस्था भी की गई है।रहमानिया अरबी मदरसे के प्रबंधक मौलाना अरशद कासमी ने बताया की यह शहर ही नहीं बल्कि आसपास के इलाके की मरकज़ी जामा मस्जिद बनेगी इस मस्जिद में ऊपर और नीचे लगभग ढाई हजार से अधिक नमाज़ी आसानी से नमाज़ अदा कर सकते हैं जो नमाजियों के लिए एक फख्र का बाइस भी है।उन्होंने बताया की प्रोफेसर वहिदुद्दीन मलिक साहब के साहबजादे मुजीब मलिक को अल्लाह ने तोफीक बख्शी है और उनका अरमान और जज़्बात भी है की रहमानिया मस्जिद को बेहद खूबसूरत बनाया जाए जिस तरह से रुड़की शहर एक बेहद खूबसूरत शहर है उसमें इस तरह की मस्जिद के निर्माण होने से एक नई नज़ीर पेश होगी ।मौलाना अरशद ने कहा की जो शख्स अल्लाह की वहबूदी के लिए मस्जिद बनवाता है अल्लाह ताला उसके लिए जन्नत में एक महल तैयार कराता है। अल्लाह अपने नेक बंदे से कब किस तरह का काम ले ले यह अल्लाह ही जानता है मुजीब मलिक साहब ने जो दीनी काम किया है उसका शहर और आसपास के लोगों काफी फायदा मिलेगा।उन्होंने कहा की रमजान के माहे मुबारक महीने में भी इस मस्जिद के निर्माण होने से नमाजियों को किसी तरह की कोई परेशानी नहीं होगी। मस्जिद के ऊपर नीचे 44 सफ आसानी से आ जाएगी।जिसमें बड़ी संख्या में नमाज़ी नमाज़ अदा कर सकते हैं। उन्होंने बताया की शहर की रहमानिया मस्जिद सबसे बड़ी जामा मस्जिद होगी।रुड़की में अब नमाजियों को किसी तरह की कोई परेशानी नहीं होगी। शहर के प्रमुख समाजसेवी मुजीब मलिक की दिन रात की कड़ी मेहनत से जल्द ही शहर के लोगों को सबसे बड़ी मस्जिद में नमाज़ अदा करने का सुनहरा मौका मिलेगा। इतना ही नहीं मुजीब मलिक रहमानिया मस्जिद के निर्माण को लेकर बेहद संजीदा नज़र आ रहे हैं ।इस मस्जिद को बेहद खूबसूरत और सबसे बड़ी बनाए जाने की उनकी कोशिश लगातार जारी है जिसके चलते इस मस्जिद में एक वक्त में ढाई से तीन हज़ार नमाज़ी आसानी से नमाज़ अदा कर सकेंगे। इस मस्जिद के निर्माण होने से रुड़की और आसपास के गांव के लोगों को भी बड़ी राहत मिलेगी। खास बात यह है की इस मस्जिद का निर्माण काफी बेहतर तरीके से किया जा रहा है जिसमें अलग से दो जगह वजू खाने भी बनवाए गए हैं।मस्जिद में आने वाले किसी नमाज़ी को किसी तरह की कोई परेशानी ना हो इसके लिए खास ध्यान रखा गया हैं खास तौर से बीमार और विकलांग नमाजियों के बैठने और नमाज़ अदा करने की व्यवस्था भी की गई है।रहमानिया अरबी मदरसे के प्रबंधक मौलाना अरशद कासमी ने बताया की यह शहर ही नहीं बल्कि आसपास के इलाके की मरकज़ी जामा मस्जिद बनेगी इस मस्जिद में ऊपर और नीचे लगभग ढाई हजार से अधिक नमाज़ी आसानी से नमाज़ अदा कर सकते हैं जो नमाजियों के लिए एक फख्र का बाइस भी है।उन्होंने बताया की प्रोफेसर वहिदुद्दीन मलिक साहब के साहबजादे मुजीब मलिक को अल्लाह ने तोफीक बख्शी है और उनका अरमान और जज़्बात भी है की रहमानिया मस्जिद को बेहद खूबसूरत बनाया जाए जिस तरह से रुड़की शहर एक बेहद खूबसूरत शहर है उसमें इस तरह की मस्जिद के निर्माण होने से एक नई नज़ीर पेश होगी ।मौलाना अरशद ने कहा की जो शख्स अल्लाह की वहबूदी के लिए मस्जिद बनवाता है अल्लाह ताला उसके लिए जन्नत में एक महल तैयार कराता है। अल्लाह अपने नेक बंदे से कब किस तरह का काम ले ले यह अल्लाह ही जानता है मुजीब मलिक साहब ने जो दीनी काम किया है उसका शहर और आसपास के लोगों काफी फायदा मिलेगा।उन्होंने कहा की रमजान के माहे मुबारक महीने में भी इस मस्जिद के निर्माण होने से नमाजियों को किसी तरह की कोई परेशानी नहीं होगी। मस्जिद के ऊपर नीचे 44 सफ आसानी से आ जाएगी।जिसमें बड़ी संख्या में नमाज़ी नमाज़ अदा कर सकते हैं। उन्होंने बताया की शहर की रहमानिया मस्जिद सबसे बड़ी जामा मस्जिद होगी।