नियम विरुद्ध दान के पैसे की डकैती कलियर दरगाह पर,,,।
रिटायरमेंट प्राप्त सफीक अहमद को दान के पैसे की 30,000 प्रतिमाह तनख्वाह पर रखा गया दरगाह पर अकाउंटेंट,,,मुंह की लगी हटती नही जालिम,,,।
रुड़की/कलियर
अनवर राणा।
जिला प्रशासन पर दरगाह कलियर के दान के धन को सम्भालने के लिये एक ऐड इस कर्मचारी भी नही मिला जो अतिरिक्त चार्ज लेकर इस कार्य को कर सकता हो ,जबकि हमेशा जिला प्रशासन का कर्मचारी ही इस महत्वपूर्ण विभाग की देखभाल देखता था।अब लोगो में किसी शायर की कहि गयी ये पंक्ति ही सुनाई देने लगी है कि मुंह की लगी हटती नही जालिम,,,,।क्योंकि दान के पैसे से अब अकन्टेन्ट के पद पर आये सफीक अहमद ब्लॉक रुड़की में एकाउंट का कार्य करते समय अतिरिक्त कलियर दरगाह के वित्त का कार्य भी काफी समय से देख रहे थे अब लगभग तीन महीने पूर्व उक्त व्यक्ति अपनी जिंदगी के 60 वर्ष पूर्व करने पर रिटायर हो चुके है।लेकिन यहां की लूटमार को देखते हुवे उक्त व्यक्ति ने अधिकारियों को भृमित कर सिफारिस कराकर दान के दरगाह के पैसे 30000 हजार रीपय प्रतिमाह पर अपनी नियुक्ति कराकर जवैनिग भी आज ले ली गयी है।दरगाह अक़ीददत मन्द लोगो का कहना है कि2011 जनहित याचिका हाइ कोर्ट के आदेश पर यहां की व्यवस्था देख रहे जिला प्रशासन पर एक कर्मचारी सरकारी विभाग से भी नही भेजने से इस महत्वपूर्ण पद पर प्राइवेट रिटायरमेंट व्यक्ति की नियुक्ति से दरगाह के दान की धनराशि की बंदरबांट होने की आशंका बन गयी है।क्योंकि दरगाह प्रबंधक व accounttant के महत्वपूर्ण विभाग पर जिला अधिकारी द्वारा हमेशा ही सरकारी व्यक्ति की ही नियुक्ति की जाती रही है।