जोड़ी की जुगलबंदी व 2018 में शासन को दी रिपोर्ट से हो सकता है गद्दीनशीन परिवार को करोड़ो की जमीन का फायदा व दरगाह को नुकसान,,,?
रुड़की।
अनवर राणा।
उत्तराखण्ड वक्फ बोर्ड गठन व उससे पूर्व के हालात को देखकर लगता है कि बोर्ड में बैठे अधिकारियों व कर्मचारियों की जुगलबंदी से दरगाह सबीरे पाक की कई सौ बीघा जमीन को गद्दीनशीन परिवार से मिलीभगत कर जानबूझकर लुटाया गया है। यही नही उत्तराखण्ड गठन के बाद तो हद तब हुई जब माननीय हाइकोर्ट में वाद के चलते वक्फ बोर्ड के द्वारा कोई पैरवी भी नही की गई ओर समयावधि के अंतर्गत जमीनों से सम्बंधित वादों में अपील न कर टाइम वार्ड अपील की गई जो वक्फ में बैठे एक चर्चित इंस्पेक्टर की मिली भगत के कारण सभी वाद सुपरमकोर्ट तक एक्ष्पार्टी खारिज हो चुके है। अब आस्थावान लोगो को सिर्फ दिखावा कर उत्तराखण्ड ने जमीनों से सम्बंधित जो वाद हाइकोर्ट में चला रखा है उसी सम्पत्ति की शासन को भेजी गयी रिपोर्ट में स्वयम वक्फ बोर्ड ने सन 2018 सिर्फ 164 खसरा नो0 पर ही वाद होना दर्शाया है जिससे अन्य किसी भी दरगाह के खसरा नम्बर पर कोई विवाद नही होना बताया है।अब सवाल यह है कि जब स्वयम तत्कालीन वक्फ बोर्ड मुख्यकार्यपालक अधिकारी व वक्फ इंस्पेक्टर की जोड़ी ने इस तरह की रिपोर्ट दी हुई है तो दरगाह को बड़ा नुकसान होने से मना नही किया जा सकता।आस्थावान लोगो मे इस बात की पुरजोर चर्चा व्याप्त है ।