हदबन्दी व कब्जा हस्तांतरण को आरोप प्रतिआरोप का दौर शुरू,,,।
सज्जादा परिवार ने दरगाह भूमि बचाओ समिति को बताया निजी लाभ के लिये कर रहे कुछ लोग प्रशासन व जनता को गुमराह,,,।
रुड़की/कलियर
अनवर राणा
पिरान कलियर दरगाह पिरान कलियर की भूमि के मलकाना हक लेकर दो पक्ष वर्षो से आमने सामने केश लड़ते चले आ रहे है।सज्जादा गद्दीनशीन दरगाह की बेशकीमती जमीन को अपनी व उत्तराखंड वक्फ बोर्ड दरगाह की बताकर हाइकोर्ट से लेकर सर्वोच्च न्यायालय तक लड़ाई लड़ चुके जिसमे हर जगह वक्फ बोर्ड को मुंह की खानी पड़ी ओर गद्दीनशीन परिवार के हक में फैसला हो चुका है।अब दरगाह के उन दो नम्बरो 79 व 90 पर आकर फिर उलझाने के प्रयास वक्फ बोर्ड की तरफ से किये जा रहे है।ओर दरगाह जमीन बचाओ समिति के नाम पर तीसरा गैर पक्षकार के रूप में सामने आकर जमीन की पैमाइश व कब्जा हस्तांतरण प्रकिर्या का विरोध कर रहा है।दो दिन पूर्व दरगाह जमीन बचाओ समिति के दो सदस्यों ने प्रेस वार्ता कर जो जानकारी मीडिया में दी गयी तो उसको झूट पर आधारित बताकर गद्दीनशीन परिवार के सदस्य असद मियां ने प्रेस को मुखातिब होते हुवे बताया कि जो लोग हमारे व प्रशासन पर झूठे आरोप लगाकर पुराना आदेश दिख रहे है उन्हें यह मालूम नही की 7 अक्टूबर 2021 को अपर जिलाधिकारी हरिद्वार ने उस आदेश को संशोधित करते हुवे ही 79 व 90 नम्बरो को सम्मलित कर पैमाइश व कब्जा हस्तांतरण के आदेश ज्वाइंट मजिस्ट्रेट रुड़की को किये गये है।इस आदेश पर ही तीन दिन पूर्व राजस्व टीम पैमाइश व कब्जा हस्तांतरण की प्रकिया के लिये कलियर पहुंची थी।उन्होंने कहा कि दरगाह बचाओ समिति के बैनर पर जनता में झूठ परोस कर कथित हितैसी निजी लाभ के चक्कर मे लगे है जो उनका कभी पूरा नही होगा।